- मोदी लहर में किशनगंज लोकसभा क्षेत्र में किया बढ़िया प्रदर्शन
- ओवैसी के कारण सिर्फ यहीं हुई बिहार में त्रिकोणीय लड़ाई

पटना. लोकसभा चुनाव का मौजूदा ट्रेंड बताता है कि बिहार में ओवैसी की पार्टी आॅल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लमिन (एआईएमआईएम) का खाता विधानसभा चुनाव में खुल सकता है। मोदी लहर में भी पार्टी ने किशनगंज लोकसभा क्षेत्र में शानदार प्रदर्शन किया है। भले ही जीत कांग्रेस को मिली, लेकिन उसने लड़ाई को त्रिकोणात्मक बना दिया।
सिर्फ यही एक सीट ऐसी रही, जहां लड़ाई आमने-सामने की नहीं थी और कांग्रेस के मो. जावेद, जदयू के सैयद महमूद अशरफ और एआईएमआईएम के अख्तरुल इमान के बीच कड़ी टक्कर रही। एआईएमआईएम ने किशनगंज लोकसभा क्षेत्र के दो विधानसभा क्षेत्रों बहादुरगंज और कोचाधामन में बढ़त बनायी। यही नहीं एक विधानसभा क्षेत्र अमौर में तो इसे जदयू से भी अधिक वोट आया। इस लोकसभा चुनाव में जहां महागठबंधन का पूरा किला ध्वस्त हो गया, वहीं औवैसी की पार्टी के लिए अच्छी खबर रही। उसने कांग्रेस और जदयू के कड़ा टक्कर देते हुए इस लोकसभा क्षेत्र में अपने लिए स्थान बना लिया।
तीसरे स्थान पर रही पार्टी
एआईएमआईएम ने इस चुनाव में बिहार में किशनगंज में सिर्फ एक ही सीट पर चुनाव लड़ा। पूरे प्रदेश में सिर्फ यही एक ऐसी सीट रही, जहां लड़ाई त्रिकोणात्मक रही। ऐसे तो एआईएमआईएम यहां तीसरे स्थान पर रही, लेकिन यहीं की लड़ाई बड़ी दिलचस्प रही। एआईएमआईएम को यहां 2 लाख 95 हजार 29 वोट आए जो कुल वोट का 26.78 फीसदी था। उधर, कांग्रेस को 3 लाख 67 हजार 17 वोट आया जो 33.32 फीसदी था और जदयू को 3 लाख 32 हजार 551 वोट आया, जो कुल वोट का 30.19 फीसदी रहा।